Dhaka Fire News: हादसा इतना भयानक था कि शव बुरी तरह जल चुके हैं। मामले की जानकारी देते हुए फायर सर्विस और सिविल डिफेंस के निदेशक लेफ्टिनेंट कर्नल मोहम्मद ताजुल इस्लाम चौधरी ने बताया कि शवों की स्थिति इतनी भयानक है कि उनकी पहचान करना मुश्किल है…
ढाका: Dhaka Fire News: बांग्लादेश की राजधानी ढाका इस समय सदमे में है। दरअसल यहाँ मंगलवार को एक बड़ा अग्निकांड हादसा हो गया, इस अग्निकांड में एक 4 मंज़िली गारमेंट फैक्ट्री और उसके ठीक पास में मौजूद एक केमिकल वेयरहाउस में आग लग गयी। इस भयंकर अग्निकांड में 16 मज़दूरों की जान जान जाने और कई अन्य लोगों के घायल होने की ख़बर है।

इस हादसे के बाद ढाका फ़ायर सर्विस व सिविल डिफेंस के अधिकारी तल्हा बिन जसीम का एक बयान सामने आया है, जिनमें उन्होंने बताया कि सबसे पहले तो आग शाह आलम केमिकल वेयरहाउस में लगी, इसके बाद बराबर में मौजूद एनार फैशन गारमेंट्स फैक्ट्री में भी आग लग गयी।
मीडिया रिपोर्ट्स अनुसार, इस भयंकर अग्निकांड के बारे में जानकारी देते हुए ढाका फ़ायर सर्विस के प्रवक्ता अनवरुल इस्लाम ने कहा कि “सर्च और रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान अकेले गारमेंट फैक्ट्री से ही 16 शव बरामद हुए हैं। हालांकि फैक्ट्री की आग को बुझा दिया गया है, लेकिन केमिकल वेयरहाउस में अभी भी आग लगी हुई है।”
यह हादसा इतना भयानक था कि शव बुरी तरह जल चुके हैं। इस घटना की जानकारी देते हुए फ़ायर सर्विस और सिविल डिफेंस के निदेशक लेफ्टिनेंट कर्नल मोहम्मद ताजुल इस्लाम चौधरी ने बताया कि शवों की स्थिति इतनी भयानक है कि उनकी पहचान करना मुश्किल है। साथ ही उन्होंने कहा कि शवों की पहचान फ़िलहाल सिर्फ़ DNA टेस्ट के माध्यम से ही मुमकिन दिख रही है।
उन्होंने आगे कहा कि “हादसे में मरने वालों के शवों को ढाका मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल भेजा जा चुका है। संभवतः मरने वाले सभी लोग विषैली गैस में साँस लेने की वजह हुई है। और हमारा अंदाज़ा है कि आग की शुरुआत केमिकल में विस्फोट से ही हुई है, जिससे विषैली गैस फ़ैल गयी और इससे कई लोगों की मौत हो गयी।”
वहीं दूसरी ओर इस हादसे में दूसरी और तीसरी मंज़िल के बीच कुछ लोग फँसे रह गये थे। बताया गया है कि इस मंज़िल की छत टिन और खपरैल से बनी हुई थी, और उसका निकास द्वार 2 ताले लगाकर बन्द किया हुआ था। ज़हरीला गैस और भयंकर आग के चलते लोग वहीं बेहोश हो होकर दम तोड़ते रहे।
इस बिल्डिंग में मौजूद एक केमिकल वेयरहाउस में 6 से 7 प्रकार के रसायन रखे गये थे, जिससे आग बुझाने के बाद भी क्षेत्र में प्रवेश करना बहुत जोखिम भरा काम था। इस हादसे के बाद रेस्क्यू कार्य में ड्रोन व लूप मॉनिटर जैसी आधुनिक तकनीकों की भी सहायता ली जा रही है। मुख्य सलाहकार मुहम्मद यूनुस ने इस हादसे पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना की है।
उन्होंने अधिकारियों को कड़े निर्देश दिये कि हादसे की जल्द से जल्द जांच कर प्रभावित परिवारों को यथा सम्भव सहायता दी जाये। फ़ायर ब्रिगेड के अनुसार, आग लगने की सूचना सुबह 11:40 बजे मिली थी, और मात्र 16 मिनट में ही यानी 11:56 बजे फ़ायर ब्रिगेड की गाड़ियां पहुँच चुकी थी और तुरंत आग बुझाने के लिये कुल 12 दमकल यूनिट्स को लगाया गया था।”
Source: khabarfast
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